BJP नेता की कंपनी अमर ज्योति 100 करोड़ ठगकर भागी, निवेशकों ने किया हंगामा: रिपोर्ट विस्तार से

बदायूं। मोटे मुनाफे का झांसा देकर बदायूं में 15 हजार लोगों से करीब सौ करोड़ रुपये निवेश कराने के बाद अमर ज्योति यूनिवर्स निधि लिमिटेड नाम की फाइनेंस कंपनी ने दफ्तर समेट लिया। बदायूं स्थित कंपनी के दफ्तर और निदेशक के बरेली स्थित आवास पर शुक्रवार को निवेशकों और अभिकर्ताओं ने हंगामा किया। कंपनी का निदेशक सूर्यकांत मौर्य बरेली में भाजपा का महानगर मंत्री है। बताया गया है कि बरेली का कारोबार वही देखता है। बदायूं के सदर कोतवाली क्षेत्र में मीरा सराय शेखूपुर रोड पर अमर ज्योति कंपनी का कार्यालय है। कंपनी करीब 30 साल से अभिकर्ताओं के जरिये आरडी और एफडी पर बैंकों के मुकाबले अधिक लाभ का झांसा देकर लोगों से निवेश करा रही है। करीब एक साल से 15 हजार निवेशकों का सौ करोड़ रुपये का भुगतान कंपनी पर बकाया है। पहले जिम्मेदार टालमटोल करते रहे, अब अचानक वे लापता हो गए। रातोंरात कंपनी के मालिक ने ऑफिस खाली कर दिया। शुक्रवार को दफ्तर का एसी उतारा जा रहा था।

इस दौरान मौके पर पहुंचे निवेशकों ने भुगतान की मांग को लेकर नारेबाजी और हंगामा किया। बाद में निवेशक बरेली आए। यहां सिंधुनगर कॉलोनी के सामने स्थित अमर ज्योति कंपनी के निदेशक शशिकांत मौर्य और उसके भाई सूर्यकांत मौर्य के घर का घेराव कर नारेबाजी की। यहां समझाने पहुंची पुलिस से उनकी नोकझोंक भी हुई। पुलिसकर्मियों ने निवेशकों को बदायूं जाकर रिपोर्ट लिखवाने की सलाह दी। बरेली के एसपी सिटी मानुष पारीक ने बताया कि बदायूं में फाइनेंस कंपनी बंद करके निवेशकों के साथ धोखाधड़ी के मामले में बरेली में कुछ लोगों ने प्रदर्शन किया, पर उनकी तरफ से कोई तहरीर नहीं दी गई है। तहरीर मिलने पर जांच कर कार्रवाई की जाएगी। कोतवाली बदायूं के इंस्पेक्टर प्रवीण कुमार ने कहा कि कंपनी के तीन अभिकर्ताओं को पूछताछ के लिए कोतवाली लाया गया है। निदेशक के बारे में जानकारी की जा रही है। निवेशकों की समस्या का समाधान न हुआ तो कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

घर से नहीं निकला भाजपा नेता, भाई ने लिखा- कोर्ट के आदेश पर नजर
अमर ज्योति यूनिवर्स लिमिटेड का निदेशक बताया जा रहा शशिकांत मौर्य व उसका भाई भाजपा नेता सूर्यकांत मौर्य घेराव के दौरान घर से बाहर नहीं निकले। दरवाजे पर सुरक्षा के लिहाज से तैनात पुलिसकर्मियों ने बताया कि दोनों घर में हैं ही नहीं, केवल परिवार की महिलाएं हैं। इधर, बाहर हंगामा कर रहे लोग लगातार यही कहते रहे कि धोखेबाज घर के अंदर ही छिपे हैं। वह लोग उन्हें पकड़कर अपना हिसाब करेंगे। दिनभर घटनाक्रम चलता रहा। शाम को बारादरी पुलिस निदेशक भाइयों और उनके परिवार को घर से सुरक्षित निकालकर ले गई।

शाम को सोशल मीडिया पर मेसेज डालकर शशिकांत ने सफाई दी। लिखा कि उसकी मंशा गलत नहीं है, लेकिन जब मामला कोर्ट में पहुंच गया है तो अब वह कोर्ट के आदेश पर ही कुछ करेगा। कटरा चांद खां मोहल्ले में स्थित निदेशक शशिकांत के घर का घेराव कर निवेशक शाम तक नारेबाजी करते रहे। पुलिसकर्मियों ने उनको फिजूल में हंगामा करने के बजाय बदायूं जाकर रिपोर्ट लिखवाने की सलाह दी। दोपहर 12 बजे बदायूं निवासी करीब सौ लोग शशिकांत के घर पहुंचे। इनमें ज्यादातर महिलाएं थीं। आरोप लगाया कि उन्होंने अपनी जीवनभर की कमाई इस कंपनी में लगा दी। अब कंपनी के लोग काफी समय से भुगतान अटका रहे हैं। शशि ने बताया कि उनके दामाद के चार लाख से ज्यादा रुपये फंसे हैं। अमित व मंजू आदि ने बताया कि वे कंपनी में बतौर कर्मचारी व अभिकर्ता जुड़े रहे। उनके भरोसे पर लोगों ने निवेश किया था और लोग अब उनसे ही हिसाब मांग रहे हैं। 

बोर्ड से नाम और पद पुतवाया
हंगामे के दौरान सूर्यकांत व शशिकांत ने पेंटर को भेजकर अपने घर के बाहर भाजपा के रंग में लिखे अपने नाम और पद को पुतवा दिया। हालांकि, कई निवेशकों और अभिकर्ताओं ने ऐसा कराते हुए पेंटर का फोटो खींच लिया। बदायूं से आए पीड़ित अमित पाठक ने बताया कि शशिकांत ने व्हाट्सएप प्रोफाइल पर प्रधानमंत्री के साथ तस्वीर लगा रखी है। सूर्यकांत मौर्य तो महानगर संगठन में मंत्री है। बारादरी के इंस्पेक्टर धनंजय पांडेय ने कहा कि धोखाधड़ी मुख्य रूप से बदायूं में हुई है तो नियमानुसार रिपोर्ट भी वहीं दर्ज होगी। बदायूं पुलिस का पूरा सहयोग कर दोषियों की गिरफ्तारी कराएंगे।

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